मेरठ. रिटायर्ड स्वास्थ्य विभाग के कर्मी की पेंशन फाइल आगे बढ़ाने के नाम पर पेंशन विभाग के एक लेखाकार को विजिलेंस की टीम ने रंगे हाथों रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तार लेखाकार को थाना सिविल लाइन में ले जाया गया, जहां उसके खिलाफ केस दर्ज कर आगे की कार्रवाई शुरू की जा रही है।
स्वास्थ्य विभाग में जेपी गुप्ता फार्मेसिस्ट के पद से एक साल पहले रिटायर्ड हुए थे। उनकी पेंशन की फाइल एमडीए परिसर में स्थित पेंशन विभाग के कार्यालय में थी। आरोप है कि जेपी गुप्ता जब अपनी पेंशन के बारे में पता करने गए तो वहां तैनात लेखाकार सतीश गुप्ता ने उनकी पेंशन की फाइल पास करने के नाम पर 30 हजार रुपए की रिश्वत मांगी। जेपी गुप्ता ने इतनी रकम देने से इंकार कर दिया। बाद में लेखाकार ने दस हजार रुपए अभी देने और बाकि 20 हजार रुपए बाद में देने की बात कही थी। इसकी शिकायत जेपी गुप्ता ने सात फरवरी को विजिलेंस के अधिकारियों से की। अधिकारियों ने शिकायत के बाद जांच की और शिकायत सही पाए जाने पर आरोपी को रंगे हाथों पकड़ने के लिए जाल बिछा दिया।
तय योजना के अनुसार, जेपी गुप्ता विजिलेंस की टीम से रंग लगे दस हजार रुपए के नोट लेकर पेंशन विभाग में लेखाकार सतीश गुप्ता के पास गया, लेकिन सतीश गुप्ता ने वहां पैसे न लेकर जेपी गुप्ता से अंबेडकर चौराहे पर एक दुकान का नाम बताकर वहां पहुंचने को कहा। यह बात जेपी गुप्ता ने विजीलेंस की टीम को बता दी। विजिलेंस ने दुकान के आसपास अपना जाल बिछा दिया। जैसे ही सतीश गुप्ता ने वहां पहुंचकर जेपी गुप्ता से दस हजार रुपए रिश्वत के लिए विजीलेंस की टीम ने रंगे हाथों उसे हिरासत में ले लिया।